सफदरजंग अस्पताल में कोरोना से लड़ रहे डॉक्टर पूरे सप्ताह पहन रहे एक ही मास्क और पीपीई किट
(तोषी शर्मा)‘एन-95 मास्क नॉट अवेलेबल इन स्टोेर’। सफदरजंग अस्पताल में ऐसा ही नोटिस चस्पा है। कोरोना वायरस से सीधे जंग लड़ रहे कोरोना योद्धाओं को मास्क तक नसीब नहीं हो रहे हैं। ऐसे में अंदाजा लगाया जा सकता है कि धरती के भगवान कहे जाने वाले डॉक्टर किन मुश्किल हालातों के बीच काम करने को मजबूर हैं। मास्क की कमी डॉक्टरों के लिए जान का खतरा होने के साथ-साथ सरकारी सिस्टम और कोरोना महामारी से निपटने के लिए की गई सरकारी तैयारियों की भी पोल खोल रही है।
सूत्रों के मुताबिक सफदरजंग अस्पताल में कोरोना संक्रमितों का इलाज कर रहे डॉक्टर एक ही पीपीई किट और मास्क को सात दिन तक पहनना पड़ रहा है। ऐसे में डॉक्टरों और स्वास्थ्यकर्मियों के कोरोना संक्रमित होने का खतरा लगातार बना हुआ है। अस्पताल के कई डॉक्टर और नर्सिंगकर्मी कोरोना की चपेट में आ चुके हैं। अस्पताल के मेडिसिन वार्ड के तीन डॉक्टर मंगलवार को ही कोरोना पॉजिटिव मिले हैं। उसी वार्ड के बाहर एन-95 मास्क नॉट अवेलेबल इन स्टोर का नोटिस चस्पा किया हुआ है। ताकि अलग-अलग शिफ्ट में आ रहे डॉक्टर और नर्सिंग स्टाफ मास्क की मांग न कर सकें।
कोविड-19 का इलाज कर रहे एक चिकित्सक ने नाम न छापने की शर्त पर बताया कि कोविड-19 के मरीजों का इलाज कर रहे चिकित्सकों को एक ही पीपीई किट और मास्क को मजबूरन एक सप्ताह तक इस्तेमाल करना पड़ रहा है। इसका विरोध करने और इस तरह की बात लीक करने पर उनके खिलाफ कार्रवाई की चेतावनी दी जाती है। इसके लिए बाकायदा इंटरनल आदेश भी जारी किए गए हैं।
सिंगल टाइम यूज पीपीई को लगातार पहनने से भी फैल रहा है संक्रमण
कोविड-19 वार्ड में पॉजिटिव मरीजों का इलाज के दौरान चिकित्सक मरीज की एडमिट फाइल में नोट डालता है। उस रजिस्टर को नर्सिंग स्टाफ उठाकर ले जाता है। उस फाइल को फिर से ऑनलाइन डाटा एंट्री के लिए डाटा ऑपरेटर ने यूज किया। फिर वही फाइल दोबारा मरीज के बेड पर पहुंच जाती है। ऐसे में कोरोना मरीज की फाइल डॉक्टर समेत कई लोगों के संपर्क में आई। ऐसे में संक्रमण का खतरा बढ़ रहा है।
दूसरा कारण डॉक्टर ओपीडी में जो मास्क पहनकर कई मरीजों को देखता है, उसमें से अगर कोई कोरोना संक्रमित होता है। और दूसरे मरीज के संपर्क में आता है तो उसमें संक्रमण फैलने का कारण बनता है। वहीं एक ही पीपीई किट को सात दिन तक पहनने से भी संक्रमण फैल रहा है। क्योंकि ये एयरटाइट होने के साथ ही सिंगल टाइम यूज है।
^अस्पताल में कोवि़ड-19 का इलाज कर रहे डॉक्टरों के लिए पीपीई किट और एन-95 मास्क की कमी होने की बात जानकारी में नहीं है। इस बारे में पता करवाता हूं, जो भी जिम्मेदार होगा उसके खिलाफ कार्रवाई और जिन उपकरणों की कमी है, उसको उपलब्ध करवाया जाएगा।
- दिनेश नारायन, पीआरओ, सफदरजंग अस्पताल
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